सांसों की दुर्गंध से लेकर मसूड़ों की सूजन तक, ऑयल पुलिंग दे सकता है राहत
दांतों और मसूड़ों की देखभाल के लिए लोग कई प्रकार के टूथपेस्ट और माउथवॉश का सहारा लेते हैं. लेकिन आयुर्वेद में सदियों पुरानी एक तकनीक ऑयल पुलिंग इन दिनों फिर से चर्चा में है. यह आसान लेकिन असरदार घरेलू तरीका मुंह के बैक्टीरिया को दूर करने और स्वच्छता को बनाए रखने में कारगर माना जा रहा है. ऐसे में चलिए अब आपको बताते हैं कि सांसों की दुर्गंध से लेकर मसूड़े की सूजन तक ऑयल पुलिंग कैसे राहत दे सकती है. क्या है ऑयल पुलिंग और कैसे करता है कम ऑयल पुलिंग एक प्राचीन आयुर्वेदिक प्रक्रिया है. जिसमें तिल या नारियल तेल को मुंह में रखकर 10 से 20 मिनट तक हिलाया जाता है. माना जाता है कि यह तेल मुंह की सतह से विषैला तत्व, बैक्टीरिया और जमा मलबा बाहर खींच लेता है. इसके बाद तेल को बाहर थूक दिया जाता है. इस तकनीक को रोजमर्रा की दिनचर्या में शामिल करने से मुंह की दुर्गंध, प्लाक, मसूड़ों की सूजन और कैविटी जैसी समस्याओं से राहत मिलती है. ऑयल पुलिंग के प्रमुख फायदे कैविटी के बैक्टीरिया से बचाव मुंह में पाए जाने वाले स्ट्रेप्टोकोकस म्यूटन्स जैसे बैक्टीरिया दांतों को नुकसान पहुंचाते हैं. वहीं ऑयल पुलिंग इनकी संख्या घटकर कैविटी का खतरा भी कम करता है. मसूड़ों की सूजन में राहत नियमित ऑयल पुलिंग से मसूड़ों में सूजन और खून आना कम हो सकता है. इससे जिंजिवाइटिस जैसी समस्याओं का खतरा घटता है. प्लाक जमा होने से रोकथाम तेल से कुल्ला करने से दांतों पर प्लाक की परत कम बनती है. जिससे पीरियडोंटल रोगों की संभावना घटती है. सांसों की दुर्गंध से छुटकारा तेल मुंह में मौजूद दुर्गंध पैदा करने वाले बैक्टीरिया को साफ करता है. जिससे फ्रेश ब्रेथ मिलती है वह भी बिना केमिकल माउथवॉश के. केमिकल फ्री ऑप्शन ऑयल पुलिंग में इस्तेमाल होने वाले नारियल या तिल का तेल नेचुरल होता है और इसमें न तो अल्कोहल होता है और न ही कोई रासायनिक पदार्थ जिससे यह एक सुरक्षित और नेचुरल ऑप्शन बन जाता है. इन बातों का रखें ध्यान कुछ लोगों को नारियल तेल से एलर्जी हो सकती है इसलिए इस्तेमाल से पहले डॉक्टर की सलाह ले या फिर पैच टेस्ट करें. इसके अलावा शुरुआत में 20 मिनट तक तेल घूमाने से जबड़े में थकान हो सकती है. ऐसे में आप इसे शुरुआत में कम समय के लिए ही करें. बाद में धीरे-धीरे इसका समय बड़ा दें. वहीं अगर आप किसी विशेष दवाई वाले माउथवॉश या टूथपेस्ट का इस्तेमाल करते हैं तो डॉक्टर से पूछ कर ही ऑयल पुलिंग शुरू करें. स्टेप बाय स्टेप कैसे करें ऑयल पुलिंग -ऑयल पुलिंग करने के लिए सबसे पहले हाई क्वालिटी, ऑर्गेनिक, कोल्ड प्रेस्ड और वर्जिन नारियल तेल सबसे अच्छा ऑप्शन माना जाता है. -इसके बाद एक चम्मच में तेल लें और इसे मुंह में डालें. शुरुआत में आप तेल की कम मात्रा से भी शुरू कर सकते हैं. -अब तेल से मुंह में 15 से 20 मिनट तक कुल्ला करें और ध्यान रहे कि इस तेल को आप निगले नहीं या गरारे नहीं करें. -तेल को मुंह में अच्छे से घूमाने के बाद इसे द डस्टबिन में थूक दें. फिर गर्म पानी से मुंह को कुल्ला करके साफ करें. -लास्ट में आप अपने दांतों को नॉर्मल टूथपेस्ट से ब्रश करें. ये भी पढ़ें- भारत के इस शहर में होती है सबसे ज्यादा बेवफाई, शादी के बाद अफेयर में दिल्ली वाले भी कम नहीं; चौंका देगी रिपोर्ट

दांतों और मसूड़ों की देखभाल के लिए लोग कई प्रकार के टूथपेस्ट और माउथवॉश का सहारा लेते हैं. लेकिन आयुर्वेद में सदियों पुरानी एक तकनीक ऑयल पुलिंग इन दिनों फिर से चर्चा में है. यह आसान लेकिन असरदार घरेलू तरीका मुंह के बैक्टीरिया को दूर करने और स्वच्छता को बनाए रखने में कारगर माना जा रहा है. ऐसे में चलिए अब आपको बताते हैं कि सांसों की दुर्गंध से लेकर मसूड़े की सूजन तक ऑयल पुलिंग कैसे राहत दे सकती है.
क्या है ऑयल पुलिंग और कैसे करता है कम
ऑयल पुलिंग एक प्राचीन आयुर्वेदिक प्रक्रिया है. जिसमें तिल या नारियल तेल को मुंह में रखकर 10 से 20 मिनट तक हिलाया जाता है. माना जाता है कि यह तेल मुंह की सतह से विषैला तत्व, बैक्टीरिया और जमा मलबा बाहर खींच लेता है. इसके बाद तेल को बाहर थूक दिया जाता है. इस तकनीक को रोजमर्रा की दिनचर्या में शामिल करने से मुंह की दुर्गंध, प्लाक, मसूड़ों की सूजन और कैविटी जैसी समस्याओं से राहत मिलती है.
ऑयल पुलिंग के प्रमुख फायदे
कैविटी के बैक्टीरिया से बचाव
मुंह में पाए जाने वाले स्ट्रेप्टोकोकस म्यूटन्स जैसे बैक्टीरिया दांतों को नुकसान पहुंचाते हैं. वहीं ऑयल पुलिंग इनकी संख्या घटकर कैविटी का खतरा भी कम करता है.
मसूड़ों की सूजन में राहत
नियमित ऑयल पुलिंग से मसूड़ों में सूजन और खून आना कम हो सकता है. इससे जिंजिवाइटिस जैसी समस्याओं का खतरा घटता है.
प्लाक जमा होने से रोकथाम
तेल से कुल्ला करने से दांतों पर प्लाक की परत कम बनती है. जिससे पीरियडोंटल रोगों की संभावना घटती है.
सांसों की दुर्गंध से छुटकारा
तेल मुंह में मौजूद दुर्गंध पैदा करने वाले बैक्टीरिया को साफ करता है. जिससे फ्रेश ब्रेथ मिलती है वह भी बिना केमिकल माउथवॉश के.
केमिकल फ्री ऑप्शन
ऑयल पुलिंग में इस्तेमाल होने वाले नारियल या तिल का तेल नेचुरल होता है और इसमें न तो अल्कोहल होता है और न ही कोई रासायनिक पदार्थ जिससे यह एक सुरक्षित और नेचुरल ऑप्शन बन जाता है.
इन बातों का रखें ध्यान
कुछ लोगों को नारियल तेल से एलर्जी हो सकती है इसलिए इस्तेमाल से पहले डॉक्टर की सलाह ले या फिर पैच टेस्ट करें. इसके अलावा शुरुआत में 20 मिनट तक तेल घूमाने से जबड़े में थकान हो सकती है. ऐसे में आप इसे शुरुआत में कम समय के लिए ही करें. बाद में धीरे-धीरे इसका समय बड़ा दें. वहीं अगर आप किसी विशेष दवाई वाले माउथवॉश या टूथपेस्ट का इस्तेमाल करते हैं तो डॉक्टर से पूछ कर ही ऑयल पुलिंग शुरू करें.
स्टेप बाय स्टेप कैसे करें ऑयल पुलिंग
-ऑयल पुलिंग करने के लिए सबसे पहले हाई क्वालिटी, ऑर्गेनिक, कोल्ड प्रेस्ड और वर्जिन नारियल तेल सबसे अच्छा ऑप्शन माना जाता है.
-इसके बाद एक चम्मच में तेल लें और इसे मुंह में डालें. शुरुआत में आप तेल की कम मात्रा से भी शुरू कर सकते हैं.
-अब तेल से मुंह में 15 से 20 मिनट तक कुल्ला करें और ध्यान रहे कि इस तेल को आप निगले नहीं या गरारे नहीं करें.
-तेल को मुंह में अच्छे से घूमाने के बाद इसे द डस्टबिन में थूक दें. फिर गर्म पानी से मुंह को कुल्ला करके साफ करें.
-लास्ट में आप अपने दांतों को नॉर्मल टूथपेस्ट से ब्रश करें.
ये भी पढ़ें- भारत के इस शहर में होती है सबसे ज्यादा बेवफाई, शादी के बाद अफेयर में दिल्ली वाले भी कम नहीं; चौंका देगी रिपोर्ट
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