युद्ध जैसे हालात में बच्चों के दिमाग को ऐसे रखें शांत, ये टिप्स आएंगे आपके काम

Children's mind calm in War like situations : भारत-पाक के बीच इन दिनों युद्ध जैसे हालात हैं. युद्ध, हिंसा या किसी भी तरह का सामाजिक संकट न सिर्फ बड़ों को, बल्कि बच्चों के मासूम मन को भी गहराई से प्रभावित करता है. टीवी पर चलती खबरें, घर के बड़ों की चिंता भरी बातें और चारों ओर का डर, बच्चों के मन में असुरक्षा, डर और भ्रम पैदा कर सकते हैं. ऐसे माहौल में बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य का ख्याल रखना बेहद जरूरी हो जाता है. इस लेख में हम आपको कुछ ऐसे अहम टिप्स बताएंगे, जो युद्ध जैसे हालात में बच्चों के दिमाग को शांत रखने में आपकी मदद करेंगे. बातचीत करें, लेकिन सीमाओं के साथ बच्चों से सच छुपाना जरूरी नहीं, लेकिन उन्हें उम्र के अनुसार जानकारी देना चाहिए. खुलकर बातचीत करें, लेकिन डर पैदा करने वाली बातें या दृश्य साझा करने से बचें. उनकी जिज्ञासाओं के जवाब शांत और सहज भाषा में दें. ये भी पढ़ें - युद्ध की बातें और वीडियो देखकर मेंटल हेल्थ पर क्या पड़ता है असर? जान लीजिए ये कितना खतरनाक न्यूज और सोशल मीडिया से दूरी बनाएं टीवी पर दिखाए जाने वाले युद्ध संबंधी दृश्यों या डरावनी खबरों को बच्चे जितना कम देखेंगे, उतना ही अच्छा होगा. कोशिश करें कि घर का माहौल न्यूज चैनलों से दूर हो और सोशल मीडिया पर बच्चों को निगरानी में रखें. नियमित दिनचर्या बनाए रखें तनावपूर्ण माहौल में भी बच्चों के लिए दिनचर्या का बना रहना जरूरी है. समय पर सोना, खाना, पढ़ाई और खेलकूद से उन्हें स्थिरता का एहसास होता है. इससे उनका दिमाग शांति में बना रहता है. खेल और रचनात्मक गतिविधियों में व्यस्त रखें बच्चों को ड्राइंग, पेंटिंग, म्यूजिक, डांस या बोर्ड गेम्स में व्यस्त रखें. ये रचनात्मक गतिविधियां मानसिक तनाव को दूर करने में बेहद कारगर होती हैं. साथ ही ये उनके दिमाग को सकारात्मक दिशा देती हैं. बच्चों को रखें पॉजिटिव बच्चों को बताएं कि आप उनके साथ हैं, उन्हें कोई नुकसान नहीं होगा, और सब कुछ धीरे-धीरे ठीक हो जाएगा. यह आश्वासन उनके लिए एक सुरक्षा कवच की तरह काम करता है. खुद को शांत रखें बच्चे बड़ों की भावनाओं को बहुत जल्दी समझ लेते हैं. अगर माता-पिता घबराए हुए या हमेशा तनाव में दिखेंगे, तो बच्चे भी वैसा ही महसूस करेंगे. इसलिए खुद को भी संतुलित और शांत रखना जरूरी है. ये भी पढ़ें - चेहरे पर सर्जरी को लेकर ट्रोल हो रहीं मौनी रॉय, जानें ऐसा करने पर क्या हो सकते हैं नुकसान Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. आप किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.

May 10, 2025 - 12:30
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युद्ध जैसे हालात में बच्चों के दिमाग को ऐसे रखें शांत, ये टिप्स आएंगे आपके काम

Children's mind calm in War like situations : भारत-पाक के बीच इन दिनों युद्ध जैसे हालात हैं. युद्ध, हिंसा या किसी भी तरह का सामाजिक संकट न सिर्फ बड़ों को, बल्कि बच्चों के मासूम मन को भी गहराई से प्रभावित करता है. टीवी पर चलती खबरें, घर के बड़ों की चिंता भरी बातें और चारों ओर का डर, बच्चों के मन में असुरक्षा, डर और भ्रम पैदा कर सकते हैं. ऐसे माहौल में बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य का ख्याल रखना बेहद जरूरी हो जाता है. इस लेख में हम आपको कुछ ऐसे अहम टिप्स बताएंगे, जो युद्ध जैसे हालात में बच्चों के दिमाग को शांत रखने में आपकी मदद करेंगे.

बातचीत करें, लेकिन सीमाओं के साथ

बच्चों से सच छुपाना जरूरी नहीं, लेकिन उन्हें उम्र के अनुसार जानकारी देना चाहिए. खुलकर बातचीत करें, लेकिन डर पैदा करने वाली बातें या दृश्य साझा करने से बचें. उनकी जिज्ञासाओं के जवाब शांत और सहज भाषा में दें.

ये भी पढ़ें - युद्ध की बातें और वीडियो देखकर मेंटल हेल्थ पर क्या पड़ता है असर? जान लीजिए ये कितना खतरनाक

न्यूज और सोशल मीडिया से दूरी बनाएं

टीवी पर दिखाए जाने वाले युद्ध संबंधी दृश्यों या डरावनी खबरों को बच्चे जितना कम देखेंगे, उतना ही अच्छा होगा. कोशिश करें कि घर का माहौल न्यूज चैनलों से दूर हो और सोशल मीडिया पर बच्चों को निगरानी में रखें.

नियमित दिनचर्या बनाए रखें

तनावपूर्ण माहौल में भी बच्चों के लिए दिनचर्या का बना रहना जरूरी है. समय पर सोना, खाना, पढ़ाई और खेलकूद से उन्हें स्थिरता का एहसास होता है. इससे उनका दिमाग शांति में बना रहता है.

खेल और रचनात्मक गतिविधियों में व्यस्त रखें

बच्चों को ड्राइंग, पेंटिंग, म्यूजिक, डांस या बोर्ड गेम्स में व्यस्त रखें. ये रचनात्मक गतिविधियां मानसिक तनाव को दूर करने में बेहद कारगर होती हैं. साथ ही ये उनके दिमाग को सकारात्मक दिशा देती हैं.

बच्चों को रखें पॉजिटिव

बच्चों को बताएं कि आप उनके साथ हैं, उन्हें कोई नुकसान नहीं होगा, और सब कुछ धीरे-धीरे ठीक हो जाएगा. यह आश्वासन उनके लिए एक सुरक्षा कवच की तरह काम करता है.

खुद को शांत रखें

बच्चे बड़ों की भावनाओं को बहुत जल्दी समझ लेते हैं. अगर माता-पिता घबराए हुए या हमेशा तनाव में दिखेंगे, तो बच्चे भी वैसा ही महसूस करेंगे. इसलिए खुद को भी संतुलित और शांत रखना जरूरी है.

ये भी पढ़ें - चेहरे पर सर्जरी को लेकर ट्रोल हो रहीं मौनी रॉय, जानें ऐसा करने पर क्या हो सकते हैं नुकसान

Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. आप किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.

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