ज्यादा आती है नींद तो तेजी से मौत को करीब बुला रहे आप, जानें कितने घंटे सोना सबसे सही?
यह कोई सीक्रेट नहीं है कि पर्याप्त नींद न लेना आपकी हेल्थ के लिए खतरनाक है. हालांकि, एक नई रिसर्च से पता चला है कि बहुत ज्यादा सोना भी उतना ही खतरनाक हो सकता है. एक मेटा एनालिसिस के मुताबिक, रात में आठ घंटे से ज्यादा स्लीप लेने से आपकी डेथ का रिस्क 34% तक बढ़ सकता है, जबकि कम सोने से यह रिस्क 14% तक बढ़ता है. खराब नींद से जुड़ी हैं 170 से ज्यादा बीमारियां यूके बायोबैंक के 88,461 वयस्कों के नींद के आंकड़ों का विश्लेषण करने वाले रिसर्चर्स ने पाया कि 170 से ज्यादा बीमारियां खराब स्लीप नींद से कनेक्टेड हैं. इन बीमारियों में पार्किंसंस, टाइप 2 डायबिटीज और एक्यूट किडनी फेलियर जैसी सीरियस प्रॉब्लम्स शामिल हैं. रिसर्च से यह भी पता चला कि देर तक सोने वालों में डेथ का रिस्क कम सोने वालों से ज्यादा होता है. लंबी नैप्स भी हैं हार्मफुल रिसर्चर्स ने पाया है कि सिर्फ रात की नींद ही नहीं, दिन में ली जाने वाली नैप्स भी आपकी हेल्थ को अफेक्ट कर सकती हैं. एक और स्टडी के अकॉर्डिंग, 30 मिनट से ज्यादा लंबी नैप्स लेने से भी डेथ का रिस्क बढ़ जाता है. स्लीप फाउंडेशन के मुताबिक, आइडियल नैप ड्यूरेशन 20 से 30 मिनट्स के बीच होना चाहिए, जिससे आप डीप स्लीप में गए बिना फ्रेश फील कर सकें. आपको कितने घंटे सोना चाहिए? नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एजिंग (NIA) के अनुसार, व्यस्कों के लिए सात से नौ घंटे की नींद सबसे बेस्ट है. स्लीप डॉक्टर और AASM की स्पोक्सपर्सन, डॉ. इंदिरा गुरुभगवतुला कहती हैं कि हम रिकमेंड करते हैं कि एडल्ट्स को रेगुलरली सात या उससे ज्यादा घंटे की स्लीप लेनी चाहिए, ताकि वे फ्रेश फील करें और आने वाले दिन के लिए रेडी रहें. उन्होंने आगे कहा कि अगर आपको दिन में बहुत ज्यादा नींद आती है या इरिटेबिलिटी, डलनेस और मेमोरी में प्रॉब्लम हो रही है, तो अपनी स्लीप के बारे में डॉक्टर से बात करना जरूरी है. अपनी नींद को ट्रैक पर लाने के लिए टिप्स सबसे पहले स्क्रीन टाइम को लिमिट करें और सोने के लिए एक रिलैक्सिंग रूटीन बनाएं. हर दिन लगभग एक ही टाइम पर सोएं और जागें. दिन में लेट कैफीन लेने से बचें. सोने के टाइम से दो से तीन घंटे पहले ज्यादा खाना न खाएं. साथ ही, रेगुलर एक्सरसाइज करें, लेकिन सोने से दो घंटे पहले वर्कआउट न करें. अगर इन टिप्स के बाद भी आपकी नींद की क्वउॉलिटी में इम्प्रूवमेंट नहीं होता है, तो पॉसिबल अंडरलाइंग रीजन्स की जांच के लिए डॉक्टर से कंसल्ट करें. ये भी पढ़ें: किडनी की इस बीमारी ने छीन लीं सत्यपाल मलिक की सांसें, जानिए कितनी गंभीर होती है ये दिक्कत? Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. आप किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.

यह कोई सीक्रेट नहीं है कि पर्याप्त नींद न लेना आपकी हेल्थ के लिए खतरनाक है. हालांकि, एक नई रिसर्च से पता चला है कि बहुत ज्यादा सोना भी उतना ही खतरनाक हो सकता है. एक मेटा एनालिसिस के मुताबिक, रात में आठ घंटे से ज्यादा स्लीप लेने से आपकी डेथ का रिस्क 34% तक बढ़ सकता है, जबकि कम सोने से यह रिस्क 14% तक बढ़ता है.
खराब नींद से जुड़ी हैं 170 से ज्यादा बीमारियां
यूके बायोबैंक के 88,461 वयस्कों के नींद के आंकड़ों का विश्लेषण करने वाले रिसर्चर्स ने पाया कि 170 से ज्यादा बीमारियां खराब स्लीप नींद से कनेक्टेड हैं. इन बीमारियों में पार्किंसंस, टाइप 2 डायबिटीज और एक्यूट किडनी फेलियर जैसी सीरियस प्रॉब्लम्स शामिल हैं. रिसर्च से यह भी पता चला कि देर तक सोने वालों में डेथ का रिस्क कम सोने वालों से ज्यादा होता है.
लंबी नैप्स भी हैं हार्मफुल
रिसर्चर्स ने पाया है कि सिर्फ रात की नींद ही नहीं, दिन में ली जाने वाली नैप्स भी आपकी हेल्थ को अफेक्ट कर सकती हैं. एक और स्टडी के अकॉर्डिंग, 30 मिनट से ज्यादा लंबी नैप्स लेने से भी डेथ का रिस्क बढ़ जाता है. स्लीप फाउंडेशन के मुताबिक, आइडियल नैप ड्यूरेशन 20 से 30 मिनट्स के बीच होना चाहिए, जिससे आप डीप स्लीप में गए बिना फ्रेश फील कर सकें.
आपको कितने घंटे सोना चाहिए?
नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एजिंग (NIA) के अनुसार, व्यस्कों के लिए सात से नौ घंटे की नींद सबसे बेस्ट है. स्लीप डॉक्टर और AASM की स्पोक्सपर्सन, डॉ. इंदिरा गुरुभगवतुला कहती हैं कि हम रिकमेंड करते हैं कि एडल्ट्स को रेगुलरली सात या उससे ज्यादा घंटे की स्लीप लेनी चाहिए, ताकि वे फ्रेश फील करें और आने वाले दिन के लिए रेडी रहें. उन्होंने आगे कहा कि अगर आपको दिन में बहुत ज्यादा नींद आती है या इरिटेबिलिटी, डलनेस और मेमोरी में प्रॉब्लम हो रही है, तो अपनी स्लीप के बारे में डॉक्टर से बात करना जरूरी है.
अपनी नींद को ट्रैक पर लाने के लिए टिप्स
सबसे पहले स्क्रीन टाइम को लिमिट करें और सोने के लिए एक रिलैक्सिंग रूटीन बनाएं. हर दिन लगभग एक ही टाइम पर सोएं और जागें. दिन में लेट कैफीन लेने से बचें. सोने के टाइम से दो से तीन घंटे पहले ज्यादा खाना न खाएं. साथ ही, रेगुलर एक्सरसाइज करें, लेकिन सोने से दो घंटे पहले वर्कआउट न करें. अगर इन टिप्स के बाद भी आपकी नींद की क्वउॉलिटी में इम्प्रूवमेंट नहीं होता है, तो पॉसिबल अंडरलाइंग रीजन्स की जांच के लिए डॉक्टर से कंसल्ट करें.
ये भी पढ़ें: किडनी की इस बीमारी ने छीन लीं सत्यपाल मलिक की सांसें, जानिए कितनी गंभीर होती है ये दिक्कत?
Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. आप किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.
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