स्कॉर्पियो-थार से लेकर XUV 700 तक कौन डिजाइन करता है महिंद्रा की गाड़ियां, जानें वह कितने पढ़े-लिखे?
जब-जब भारत में महिंद्रा की दमदार गाड़ियों का नाम आता है फिर चाहे वो स्कॉर्पियो हो, थार हो या XUV700 तो लोगों के जेहन में सबसे पहले उनकी ताकत और डिजाइन की छवि उभरती है. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि इन गाड़ियों के पीछे वो कौन सा चेहरा है, जिसने इन्हें इतना आकर्षक और अलग बनाया? वह नाम है रामकृपा आनंदन (Ramkripa Ananthan) का भारत की जानी-मानी कार डिजाइनर, जिन्होंने महिंद्रा की पहचान को ही नया आयाम दिया. रामकृपा आनंदन का जन्म साल 1971 में हुआ. वह ऐसे परिवार से आती हैं, जहां शिक्षा और ज्ञान को सबसे ऊपर माना जाता था. रामकृपा ने अपनी पढ़ाई की शुरुआत मैकेनिकल इंजीनियरिंग से की. वह भारत के सबसे टॉप संस्थानों में से एक BITS पिलानी की छात्रा रहीं. यहां से उन्हें मशीनों और तकनीक की गहरी समझ मिली. लेकिन उनका मन सिर्फ मशीनों तक सीमित नहीं था, बल्कि उन्हें उन्हें और खूबसूरत रूप देने का जुनून भी था. इसी जुनून ने उन्हें आगे बढ़ाया और उन्होंने डिजाइन की पढ़ाई के लिए IDC School of Design, IIT बॉम्बे का रुख किया. महिंद्रा में एंट्री और शुरुआती काम साल 1997 में रामकृपा आनंदन ने महिंद्रा एंड महिंद्रा से जुड़कर अपने करियर की शुरुआत की. पहली बार उन्होंने कारों के इंटीरियर डिजाइन पर काम किया. उस समय उन्होंने महिंद्रा बोलेरो और स्कॉर्पियो जैसी गाड़ियों के अंदरूनी हिस्सों (इंटीरियर) का डिजाइन किया. धीरे-धीरे उनका कॉन्फिडेंस बढ़ा और उनके आइडियाज महिंद्रा टीम में चर्चा का विषय बनने लगे. उनकी मेहनत और सोच ने उन्हें उस मुकाम पर पहुंचा दिया, जहां वे महिंद्रा की पूरी डिजाइन टीम को लीड करने लगीं. स्कॉर्पियो, थार और XUV700- डिजाइन की नई पहचान जब महिंद्रा ने भारतीय सड़कों पर स्कॉर्पियो उतारी, तो यह सिर्फ एक कार नहीं, बल्कि "स्टेटस सिंबल" बन गई. उसके दमदार लुक और डिजाइन के पीछे रामकृपा का ही हाथ था. स्कॉर्पियो की सफलता ने महिंद्रा को घर-घर तक पहुंचाया.इसके बाद जब महिंद्रा ने थार पेश की, तो यह गाड़ी युवाओं के सपनों की कार बन गई. फिर आई XUV700, जिसने लॉन्च के साथ ही शानदार बुकिंग रिकॉर्ड बना दिया. करीब 25 वर्ष महिंद्रा के साथ बिताने के बाद रामकृपा ने एक नया कदम उठाया. उन्होंने अपना खुद का Krux Studio शुरू किया, जहां वे नई डिजाइन सोच और आइडियाज पर काम करने लगीं. बोस कर रहे लीड फिलहाल की बात करें तो महिंद्रा की डिजाइन लीडरशिप का चेहरा प्रताप बोस हैं. प्रताप बोस टाटा मोटर्स से महिंद्रा में आए और उन्हें ग्लोबल स्तर पर डिजाइनिंग की दुनिया में काफी सम्मान हासिल है. बोस ने भारत के टॉप डिजाइन संस्थान नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन (NID), अहमदाबाद से इंडस्ट्रियल डिजाइन की पढ़ाई की. इसके बाद उन्होंने लंदन के प्रतिष्ठित रॉयल कॉलेज ऑफ आर्ट (Royal College of Art) से एम.ए. इन व्हीकल डिजाइन (2003) पूरा किया. यह भी पढ़ें- NIRF Ranking 2025: एनआईआरएफ रैंकिंग 2025 जारी, ओवरऑल कैटेगरी में इस कॉलेज ने किया टॉप

जब-जब भारत में महिंद्रा की दमदार गाड़ियों का नाम आता है फिर चाहे वो स्कॉर्पियो हो, थार हो या XUV700 तो लोगों के जेहन में सबसे पहले उनकी ताकत और डिजाइन की छवि उभरती है. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि इन गाड़ियों के पीछे वो कौन सा चेहरा है, जिसने इन्हें इतना आकर्षक और अलग बनाया? वह नाम है रामकृपा आनंदन (Ramkripa Ananthan) का भारत की जानी-मानी कार डिजाइनर, जिन्होंने महिंद्रा की पहचान को ही नया आयाम दिया.
रामकृपा आनंदन का जन्म साल 1971 में हुआ. वह ऐसे परिवार से आती हैं, जहां शिक्षा और ज्ञान को सबसे ऊपर माना जाता था. रामकृपा ने अपनी पढ़ाई की शुरुआत मैकेनिकल इंजीनियरिंग से की. वह भारत के सबसे टॉप संस्थानों में से एक BITS पिलानी की छात्रा रहीं. यहां से उन्हें मशीनों और तकनीक की गहरी समझ मिली. लेकिन उनका मन सिर्फ मशीनों तक सीमित नहीं था, बल्कि उन्हें उन्हें और खूबसूरत रूप देने का जुनून भी था. इसी जुनून ने उन्हें आगे बढ़ाया और उन्होंने डिजाइन की पढ़ाई के लिए IDC School of Design, IIT बॉम्बे का रुख किया.
महिंद्रा में एंट्री और शुरुआती काम
साल 1997 में रामकृपा आनंदन ने महिंद्रा एंड महिंद्रा से जुड़कर अपने करियर की शुरुआत की. पहली बार उन्होंने कारों के इंटीरियर डिजाइन पर काम किया. उस समय उन्होंने महिंद्रा बोलेरो और स्कॉर्पियो जैसी गाड़ियों के अंदरूनी हिस्सों (इंटीरियर) का डिजाइन किया. धीरे-धीरे उनका कॉन्फिडेंस बढ़ा और उनके आइडियाज महिंद्रा टीम में चर्चा का विषय बनने लगे. उनकी मेहनत और सोच ने उन्हें उस मुकाम पर पहुंचा दिया, जहां वे महिंद्रा की पूरी डिजाइन टीम को लीड करने लगीं.
स्कॉर्पियो, थार और XUV700- डिजाइन की नई पहचान
जब महिंद्रा ने भारतीय सड़कों पर स्कॉर्पियो उतारी, तो यह सिर्फ एक कार नहीं, बल्कि "स्टेटस सिंबल" बन गई. उसके दमदार लुक और डिजाइन के पीछे रामकृपा का ही हाथ था. स्कॉर्पियो की सफलता ने महिंद्रा को घर-घर तक पहुंचाया.इसके बाद जब महिंद्रा ने थार पेश की, तो यह गाड़ी युवाओं के सपनों की कार बन गई. फिर आई XUV700, जिसने लॉन्च के साथ ही शानदार बुकिंग रिकॉर्ड बना दिया. करीब 25 वर्ष महिंद्रा के साथ बिताने के बाद रामकृपा ने एक नया कदम उठाया. उन्होंने अपना खुद का Krux Studio शुरू किया, जहां वे नई डिजाइन सोच और आइडियाज पर काम करने लगीं.
बोस कर रहे लीड
फिलहाल की बात करें तो महिंद्रा की डिजाइन लीडरशिप का चेहरा प्रताप बोस हैं. प्रताप बोस टाटा मोटर्स से महिंद्रा में आए और उन्हें ग्लोबल स्तर पर डिजाइनिंग की दुनिया में काफी सम्मान हासिल है. बोस ने भारत के टॉप डिजाइन संस्थान नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन (NID), अहमदाबाद से इंडस्ट्रियल डिजाइन की पढ़ाई की. इसके बाद उन्होंने लंदन के प्रतिष्ठित रॉयल कॉलेज ऑफ आर्ट (Royal College of Art) से एम.ए. इन व्हीकल डिजाइन (2003) पूरा किया.
यह भी पढ़ें- NIRF Ranking 2025: एनआईआरएफ रैंकिंग 2025 जारी, ओवरऑल कैटेगरी में इस कॉलेज ने किया टॉप
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