'इंपोर्टेड चश्मा, विदेशी सूट और...', PM मोदी के 'वोकल फॉर लोकल' अभियान पर कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने ये क्या कहा?
Pramod Tiwari on PM Modi: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘स्वदेशी अपनाओ’ और ‘ऑपरेशन सिंदूर’ में देशवासियों की भागीदारी की अपील पर कांग्रेस ने तीखा सवाल उठाया है. पार्टी के वरिष्ठ नेता और सांसद प्रमोद तिवारी ने प्रधानमंत्री को पहले खुद विदेशी वस्तुओं का उपयोग बंद करने की सलाह दी.कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा, "मोदी जी जब गणेश जी की मूर्ति देख रहे हैं, तब उन्हें अपना इंपोर्टेड चश्मा याद नहीं आया. वे जब दस्तखत करते हैं तो विदेशी कलम का इस्तेमाल करते हैं. उनकी घड़ी भी विदेशी और शानदार होती है और उनके विदेशी सूट का तो इतिहास बन चुका है." उन्होंने आगे कहा, "जिस देश का प्रधानमंत्री खुद विदेशी चीजों की नुमाइश कर रहा हो, वह दूसरों को स्वदेशी अपनाने की सीख दे रहा है. अगर किसी की आलोचना करनी है तो पहले खुद कीजिए, अपनी सरकार की कीजिए." कांग्रेस ने मोदी सरकार की विदेश नीति पर उठाए सवाल कांग्रेस ने मोदी सरकार की विदेश नीति को लेकर सवाल उठाते हुए कहा है कि आज भारत अंतरराष्ट्रीय मंचों पर अलग-थलग पड़ता जा रहा है. उन्होंने इंदिरा गांधी के कार्यकाल को याद करते हुए उसकी तुलना वर्तमान हालात से की. कांग्रेस ने आरोप लगाया, "इंदिरा गांधी के समय में बहुत सफल विदेश नीति थी, लेकिन आज मोदी जी के साथ कौन खड़ा है? नेपाल, श्रीलंका, और भूटान तक साथ नहीं दिखते. सरकार को अब प्रतिनिधिमंडल भेजकर समर्थन मांगना पड़ रहा है. ये वही सरकार है जिसने कभी नारा दिया था- ‘अगली बार ट्रंप सरकार’, लेकिन इसका देश को क्या फायदा मिला?" कांग्रेस ने पूछा कि जब वैश्विक संकट आता है तो भारत के साथ खड़े देशों की संख्या क्यों घट रही है? बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने किया पलटवार बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने पलटवार करते हुए कांग्रेस की दुनियाभर में भेजे गए डेलिगेशन पर गई टिप्पणियों पर नाराजगी जताई. उन्होंने कहा, "अगर वे (कांग्रेस नेता) समझ नहीं पा रहे तो उसका इलाज नहीं है. विदेश मंत्रालय की ब्रीफिंग को ठीक से नहीं समझा गया. विदेश की धरती पर कोई भी प्रतिनिधिमंडल अपने देश की आलोचना नहीं करता, वह तारीफ करता है." उन्होंने आगे कहा, "सभी प्रधानमंत्री अपने समय पर निर्वाचित हुए हैं. आप विदेश में बैठकर अपने नेताओं की आलोचना करेंगे तो आपको प्रतिनिधिमंडल का हिस्सा नहीं रहना चाहिए. या तो खुद वापस आ जाइए, वरना सरकार को आपको वापस बुला लेना चाहिए." ये भी पढ़ें- 'मुझे गोली मार दो और बंगभवन में दफन...', बांग्लादेश में आर्मी के इस्तीफा मांगने पर बोली थीं शेख हसीना

Pramod Tiwari on PM Modi: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘स्वदेशी अपनाओ’ और ‘ऑपरेशन सिंदूर’ में देशवासियों की भागीदारी की अपील पर कांग्रेस ने तीखा सवाल उठाया है. पार्टी के वरिष्ठ नेता और सांसद प्रमोद तिवारी ने प्रधानमंत्री को पहले खुद विदेशी वस्तुओं का उपयोग बंद करने की सलाह दी.
कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा, "मोदी जी जब गणेश जी की मूर्ति देख रहे हैं, तब उन्हें अपना इंपोर्टेड चश्मा याद नहीं आया. वे जब दस्तखत करते हैं तो विदेशी कलम का इस्तेमाल करते हैं. उनकी घड़ी भी विदेशी और शानदार होती है और उनके विदेशी सूट का तो इतिहास बन चुका है." उन्होंने आगे कहा, "जिस देश का प्रधानमंत्री खुद विदेशी चीजों की नुमाइश कर रहा हो, वह दूसरों को स्वदेशी अपनाने की सीख दे रहा है. अगर किसी की आलोचना करनी है तो पहले खुद कीजिए, अपनी सरकार की कीजिए."
कांग्रेस ने मोदी सरकार की विदेश नीति पर उठाए सवाल
कांग्रेस ने मोदी सरकार की विदेश नीति को लेकर सवाल उठाते हुए कहा है कि आज भारत अंतरराष्ट्रीय मंचों पर अलग-थलग पड़ता जा रहा है. उन्होंने इंदिरा गांधी के कार्यकाल को याद करते हुए उसकी तुलना वर्तमान हालात से की. कांग्रेस ने आरोप लगाया, "इंदिरा गांधी के समय में बहुत सफल विदेश नीति थी, लेकिन आज मोदी जी के साथ कौन खड़ा है? नेपाल, श्रीलंका, और भूटान तक साथ नहीं दिखते. सरकार को अब प्रतिनिधिमंडल भेजकर समर्थन मांगना पड़ रहा है. ये वही सरकार है जिसने कभी नारा दिया था- ‘अगली बार ट्रंप सरकार’, लेकिन इसका देश को क्या फायदा मिला?" कांग्रेस ने पूछा कि जब वैश्विक संकट आता है तो भारत के साथ खड़े देशों की संख्या क्यों घट रही है?
बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने किया पलटवार
बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने पलटवार करते हुए कांग्रेस की दुनियाभर में भेजे गए डेलिगेशन पर गई टिप्पणियों पर नाराजगी जताई. उन्होंने कहा, "अगर वे (कांग्रेस नेता) समझ नहीं पा रहे तो उसका इलाज नहीं है. विदेश मंत्रालय की ब्रीफिंग को ठीक से नहीं समझा गया. विदेश की धरती पर कोई भी प्रतिनिधिमंडल अपने देश की आलोचना नहीं करता, वह तारीफ करता है."
उन्होंने आगे कहा, "सभी प्रधानमंत्री अपने समय पर निर्वाचित हुए हैं. आप विदेश में बैठकर अपने नेताओं की आलोचना करेंगे तो आपको प्रतिनिधिमंडल का हिस्सा नहीं रहना चाहिए. या तो खुद वापस आ जाइए, वरना सरकार को आपको वापस बुला लेना चाहिए."
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