Supreme Court: 'मुन्ना भाई अंदर ही रहना चाहिए', अपने बदले दूसरे से परीक्षा दिलवाने वाले की जमानत याचिका पर सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी

अपने बदले दूसरे व्यक्ति को परीक्षा देने के लिए भेजने के आरोपी को सुप्रीम कोर्ट ने कड़ी फटकार लगाई है. हाई कोर्ट से जमानत याचिका खारिज होने के बाद सुप्रीम कोर्ट पहुंचे याचिकाकर्ता पर टिप्पणी करते हुए कोर्ट ने कहा, "ऐसे मुन्ना भाई को अंदर ही रहना चाहिए." हालांकि, बाद में कोर्ट ने याचिका पर नोटिस जारी करते हुए 4 सप्ताह बाद सुनवाई की बात कही. याचिकाकर्ता संदीप सिंह पटेल को केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा (CTET) में गड़बड़ी के आरोप में गिरफ्तार किया गया था. आरोप है कि उसने 15 दिसंबर 2024 को हुई CTET परीक्षा में अपनी जगह लोकेंद्र शुक्ला नाम के व्यक्ति को भेजा. इसके लिए फर्जी प्रवेश पत्र और गलत बॉयोमेट्रिक पहचान का इस्तेमाल किया गया. परीक्षा केंद्र के अधिकारियों को शक होने पर मामला सामने आया. सुप्रीम कोर्ट में दी दलीलसुप्रीम कोर्ट में पटेल ने दलील दी कि मामले के बाकी आरोपियों को जमानत मिल चुकी है. इस पर जस्टिस विक्रम नाथ और न्यायमूर्ति संदीप मेहता ने कहा, "इस तरह के लोग सार्वजनिक परीक्षाओं की पूरी व्यवस्था को बर्बाद कर रहे हैं. उनकी बेईमानी का नुकसान सच्चे और मेहनती छात्रों को उठाना पड़ता है." किस कानून के तहत दर्ज किया केसमामले में भारतीय न्याय संहिता (BNS) और उत्तर प्रदेश सार्वजनिक परीक्षा (अनुचित साधन रोकथाम) कानून, 2024 के तहत केस दर्ज किया गया है. उसने इलाहाबाद हाई कोर्ट में दलील दी थी कि परीक्षा के दौरान वह हस्पताल में भर्ती था. उसे जानकारी नहीं कि परीक्षा देने कौन गया. उसने किसी फर्जी सॉल्वर या अन्य व्यक्ति से संपर्क नहीं किया, न पैसे दिए. यूपी सरकार ने हाई कोर्ट में दावा किया था कि पटेल के खिलाफ पर्याप्त सबूत हैं. कॉल रिकॉर्ड से साफ है कि वह आरोपियों के संपर्क में था. इसके बाद 8 जुलाई 2025 को हाई कोर्ट ने पटेल को मामले का मुख्य लाभार्थी बताते हुए ज़मानत से मना कर दिया था. ये भी पढ़ें: 'खाना, इलाज और सुरक्षा का पूरा इंतजाम...', भारत ने बेल्जियम कोर्ट को बताया मेहुल चौकसी कहां और कैसे रहेगा?

Sep 8, 2025 - 15:30
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Supreme Court: 'मुन्ना भाई अंदर ही रहना चाहिए', अपने बदले दूसरे से परीक्षा दिलवाने वाले की जमानत याचिका पर सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी

अपने बदले दूसरे व्यक्ति को परीक्षा देने के लिए भेजने के आरोपी को सुप्रीम कोर्ट ने कड़ी फटकार लगाई है. हाई कोर्ट से जमानत याचिका खारिज होने के बाद सुप्रीम कोर्ट पहुंचे याचिकाकर्ता पर टिप्पणी करते हुए कोर्ट ने कहा, "ऐसे मुन्ना भाई को अंदर ही रहना चाहिए." हालांकि, बाद में कोर्ट ने याचिका पर नोटिस जारी करते हुए 4 सप्ताह बाद सुनवाई की बात कही.

याचिकाकर्ता संदीप सिंह पटेल को केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा (CTET) में गड़बड़ी के आरोप में गिरफ्तार किया गया था. आरोप है कि उसने 15 दिसंबर 2024 को हुई CTET परीक्षा में अपनी जगह लोकेंद्र शुक्ला नाम के व्यक्ति को भेजा. इसके लिए फर्जी प्रवेश पत्र और गलत बॉयोमेट्रिक पहचान का इस्तेमाल किया गया. परीक्षा केंद्र के अधिकारियों को शक होने पर मामला सामने आया.

सुप्रीम कोर्ट में दी दलील
सुप्रीम कोर्ट में पटेल ने दलील दी कि मामले के बाकी आरोपियों को जमानत मिल चुकी है. इस पर जस्टिस विक्रम नाथ और न्यायमूर्ति संदीप मेहता ने कहा, "इस तरह के लोग सार्वजनिक परीक्षाओं की पूरी व्यवस्था को बर्बाद कर रहे हैं. उनकी बेईमानी का नुकसान सच्चे और मेहनती छात्रों को उठाना पड़ता है."

किस कानून के तहत दर्ज किया केस
मामले में भारतीय न्याय संहिता (BNS) और उत्तर प्रदेश सार्वजनिक परीक्षा (अनुचित साधन रोकथाम) कानून, 2024 के तहत केस दर्ज किया गया है. उसने इलाहाबाद हाई कोर्ट में दलील दी थी कि परीक्षा के दौरान वह हस्पताल में भर्ती था. उसे जानकारी नहीं कि परीक्षा देने कौन गया. उसने किसी फर्जी सॉल्वर या अन्य व्यक्ति से संपर्क नहीं किया, न पैसे दिए. यूपी सरकार ने हाई कोर्ट में दावा किया था कि पटेल के खिलाफ पर्याप्त सबूत हैं. कॉल रिकॉर्ड से साफ है कि वह आरोपियों के संपर्क में था. इसके बाद 8 जुलाई 2025 को हाई कोर्ट ने पटेल को मामले का मुख्य लाभार्थी बताते हुए ज़मानत से मना कर दिया था.

ये भी पढ़ें: 'खाना, इलाज और सुरक्षा का पूरा इंतजाम...', भारत ने बेल्जियम कोर्ट को बताया मेहुल चौकसी कहां और कैसे रहेगा?

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