Lords Cricket Ground: जानिए किसके नाम पर बना क्रिकेट का मक्का कहा जाने वाला लॉर्ड्स स्टेडियम और अब इसका मालिक कौन है

भारत और इंग्लैंड के बीच तीसरा टेस्ट मैच क्रिकेट के सबसे ऐतिहासिक मैदान लॉर्ड्स में खेला जाएगा, लेकिन क्या आप जानते हैं कि इस "क्रिकेट के मक्का" कहे जाने वाले मैदान की नींव एक ऐसे क्रिकेटर ने रखी थी, जिसके बेटे ने अपने पूरे करियर में महज 18 रन बनाए थे? आइए जानते हैं लॉर्ड्स के गौरवशाली इतिहास से जुड़ी हर अहम जानकारी. थॉमस लॉर्ड कौन हैं जिनके नाम पर बना 'लॉर्ड्स' लॉर्ड्स क्रिकेट ग्राउंड की शुरुआत हुई थी थॉमस लॉर्ड से, जो 18वीं सदी के एक यॉर्कशायर क्रिकेटर और गेंदबाज थे. उन्होंने अपने करियर में कुल 59 फर्स्ट क्लास मैच खेले और 148 विकेट लिए थे. हालांकि, उन्हें असली पहचान एक मैदान निर्माता के तौर पर मिली. उन्होंने वो स्टेडियम खड़ा किया जो आने वाले समय में विश्व क्रिकेट का सबसे प्रतिष्ठित मैदान बना. थॉमस लॉर्ड के बेटे का भी नाम थॉमस लॉर्ड था और वे भी एक क्रिकेटर थे, लेकिन उनका करियर कुछ खास नहीं रहा. उन्होंने कुल 5 फर्स्ट क्लास मैच खेले और महज 18 रन बनाए, साथ ही एक विकेट भी लिया. लॉर्ड्स की स्थापना कैसे हुई? 1787 में, थॉमस लॉर्ड ने लंदन के मैरीलेबोन में पहला लॉर्ड्स ग्राउंड (डॉर्सेट स्क्वायर) बनाया था. जब वो मैदान छोटा पड़ा, तो 1809 में इसे लिसन ग्रोव (रीजेंट्स पार्क) में स्थानांतरित किया गया जिसे मिडल ग्राउंड कहा जाता था. जब उस मैदान पर रीजेंट्स कैनाल का निर्माण हुआ, तो मैदान की जमीन अधिग्रहित कर ली गई थी. इसके बाद वापस थॉमस लॉर्ड ने मौजूदा स्थान सेंट जॉन्स वुड में तीसरा और स्थायी मैदान तैयार किया, जो आज का लॉर्ड्स क्रिकेट ग्राउंड के नाम से जाना जाता है. कौन है लॉर्ड्स का असली मालिक? आज लॉर्ड्स का मालिकाना हक मैरीलेबोन क्रिकेट क्लब (MCC) के पास है. MCC की स्थापना भी 1787 में ही हुई थी. MCC सिर्फ एक क्लब नहीं, बल्कि क्रिकेट के नियमों का संरक्षक है. 1788 में क्रिकेट के पहले आधिकारिक नियम MCC ने ही बनाए थे. आज भी ICC के तमाम नियमों की नींव MCC के सुझावों से ही रखी जाती है.22 जून 1814 को  MCC ने हर्टफोर्डशायर के खिलाफ यहां पहला घरेलू मैच खेला गया था. उसके बाद 21 जुलाई 1884 को लॉर्ड्स के मैदान पर पहला इंटरनेशनल टेस्ट मैच खेला गया, जिसमें इंग्लैंड ने ऑस्ट्रेलिया से मुकाबला किया था. आज का लॉर्ड्स मैदान  लॉर्ड्स स्टेडियम की दर्शक क्षमता आज 31,100 है. पवेलियन की लाल ईंटें, ऑनर्स बोर्ड, मीडिया सेंटर और मैदान की हल्की ढलान इसे बाकी मैदानों से अलग पहचान देती है. दुनिया का हर क्रिकेटर लॉर्ड्स में खेलने को अपने करियर की सबसे बड़ी उपलब्धि मानता है. भारत और इंग्लैंड के बीच चल रही टेस्ट सीरीज 1-1 से बराबरी पर है और अब तीसरा मैच इसी ऐतिहासिक मैदान पर खेला जाएगा. कई भारतीय खिलाड़ियों के लिए यह लॉर्ड्स में पहली बार उतरने का मौका होगा, जो खुद में एक ऐतिहासिक पल बन सकता है.

Jul 9, 2025 - 13:30
 0
Lords Cricket Ground: जानिए किसके नाम पर बना क्रिकेट का मक्का कहा जाने वाला लॉर्ड्स स्टेडियम और अब इसका मालिक कौन है

भारत और इंग्लैंड के बीच तीसरा टेस्ट मैच क्रिकेट के सबसे ऐतिहासिक मैदान लॉर्ड्स में खेला जाएगा, लेकिन क्या आप जानते हैं कि इस "क्रिकेट के मक्का" कहे जाने वाले मैदान की नींव एक ऐसे क्रिकेटर ने रखी थी, जिसके बेटे ने अपने पूरे करियर में महज 18 रन बनाए थे? आइए जानते हैं लॉर्ड्स के गौरवशाली इतिहास से जुड़ी हर अहम जानकारी.

थॉमस लॉर्ड कौन हैं जिनके नाम पर बना 'लॉर्ड्स'

लॉर्ड्स क्रिकेट ग्राउंड की शुरुआत हुई थी थॉमस लॉर्ड से, जो 18वीं सदी के एक यॉर्कशायर क्रिकेटर और गेंदबाज थे. उन्होंने अपने करियर में कुल 59 फर्स्ट क्लास मैच खेले और 148 विकेट लिए थे. हालांकि, उन्हें असली पहचान एक मैदान निर्माता के तौर पर मिली. उन्होंने वो स्टेडियम खड़ा किया जो आने वाले समय में विश्व क्रिकेट का सबसे प्रतिष्ठित मैदान बना.

थॉमस लॉर्ड के बेटे का भी नाम थॉमस लॉर्ड था और वे भी एक क्रिकेटर थे, लेकिन उनका करियर कुछ खास नहीं रहा. उन्होंने कुल 5 फर्स्ट क्लास मैच खेले और महज 18 रन बनाए, साथ ही एक विकेट भी लिया.

लॉर्ड्स की स्थापना कैसे हुई?

1787 में, थॉमस लॉर्ड ने लंदन के मैरीलेबोन में पहला लॉर्ड्स ग्राउंड (डॉर्सेट स्क्वायर) बनाया था.

जब वो मैदान छोटा पड़ा, तो 1809 में इसे लिसन ग्रोव (रीजेंट्स पार्क) में स्थानांतरित किया गया जिसे मिडल ग्राउंड कहा जाता था.

जब उस मैदान पर रीजेंट्स कैनाल का निर्माण हुआ, तो मैदान की जमीन अधिग्रहित कर ली गई थी.

इसके बाद वापस थॉमस लॉर्ड ने मौजूदा स्थान सेंट जॉन्स वुड में तीसरा और स्थायी मैदान तैयार किया, जो आज का लॉर्ड्स क्रिकेट ग्राउंड के नाम से जाना जाता है.

कौन है लॉर्ड्स का असली मालिक?

आज लॉर्ड्स का मालिकाना हक मैरीलेबोन क्रिकेट क्लब (MCC) के पास है. MCC की स्थापना भी 1787 में ही हुई थी. MCC सिर्फ एक क्लब नहीं, बल्कि क्रिकेट के नियमों का संरक्षक है. 1788 में क्रिकेट के पहले आधिकारिक नियम MCC ने ही बनाए थे. आज भी ICC के तमाम नियमों की नींव MCC के सुझावों से ही रखी जाती है.

22 जून 1814 को  MCC ने हर्टफोर्डशायर के खिलाफ यहां पहला घरेलू मैच खेला गया था. उसके बाद 21 जुलाई 1884 को लॉर्ड्स के मैदान पर पहला इंटरनेशनल टेस्ट मैच खेला गया, जिसमें इंग्लैंड ने ऑस्ट्रेलिया से मुकाबला किया था.

आज का लॉर्ड्स मैदान 

लॉर्ड्स स्टेडियम की दर्शक क्षमता आज 31,100 है. पवेलियन की लाल ईंटें, ऑनर्स बोर्ड, मीडिया सेंटर और मैदान की हल्की ढलान इसे बाकी मैदानों से अलग पहचान देती है. दुनिया का हर क्रिकेटर लॉर्ड्स में खेलने को अपने करियर की सबसे बड़ी उपलब्धि मानता है.

भारत और इंग्लैंड के बीच चल रही टेस्ट सीरीज 1-1 से बराबरी पर है और अब तीसरा मैच इसी ऐतिहासिक मैदान पर खेला जाएगा. कई भारतीय खिलाड़ियों के लिए यह लॉर्ड्स में पहली बार उतरने का मौका होगा, जो खुद में एक ऐतिहासिक पल बन सकता है.

What's Your Reaction?

like

dislike

love

funny

angry

sad

wow