माचा टी बन रही है हेल्थ ट्रेंड, जानिए कैसे करता है शरीर की सफाई और मूड बूस्ट

जापान से निकली पारंपरिक माचा टी अब दुनिया में एक हेल्थ ट्रेंड बन चुकी है. बारीक पीसी हुई ग्रीन टी का इस्तेमाल जापानी टी सेरेमनी में सदियों से होता आया है. लेकिन अब यह साइंस इन ए कप बनकर दुनिया के फिटनेस और वेलनेस एक्सपर्ट की पसंद बन गई है. इसे लेकर कई एक्सपर्ट माचा के फायदे भी बताते हुए नजर आ रहे हैं. चलिए तो आज हम आपको भी बताते हैं की माचा टी हेल्थ ट्रेंड कैसे बन रही है. पूरी चाय पत्ती के साथ मिलने वाले पोषक तत्व माचा टी की खासियत यह है कि इसमें पूरी चाय पत्ती को पीसकर पाउडर बनाया जाता है. जिससे इसमें ग्रीन टी की तुलना में कई ज्यादा कैफीन और एंटीऑक्सीडेंट होते हैं. यही वजह है कि इसे सेहतमंद ऑप्शन की सूची में ऊंचा स्थान मिला है. तनाव कम कर ध्यान बढ़ाएं माचा में मौजूद एल थीनीन नामक अमीनो एसिड मानसिक शांति देने में मदद करता है. यह कैफीन के असर को नियंत्रित करता है. जिससे ऊर्जा लंबे समय तक बनी रहती है लेकिन झटके या बेचैनी जैसी शिकायत नहीं होती है. वही यह मिश्रण फोकस्ड और स्ट्रेस फ्री एनर्जी भी प्रदान करता है. मेटाबॉलिज्म को तेज कर फैट बर्न में भी मददगार माचा को मेटाबॉलिज्म बूस्टर बताया गया है. इसमें मौजूद कैटेचिन्स शरीर की ऊर्जा को बढ़ाते हैं और फैट ऑक्सीडेशन की प्रक्रिया को तेज करते हैं. यानी फैट को एनर्जी में बदलने में मदद मिलती है. यही वजह है की माचा को वेट मैनेजमेंट का नेचुरल सहारा माना जा रहा है. शरीर की सफाई में भी मददगार माचा का गहरा हरा रंग इसमें मौजूद क्लोरोफिल की मात्रा को दर्शाता है जो शरीर से टॉक्सिन्स बाहर निकलने में सहायक होता है. यह लीवर की सेहत को भी सपोर्ट करता है जो कि शरीर के डिटॉक्स सिस्टम का केंद्र है. कुछ रिपोर्ट्स के अनुसार माचा लीवर के फंक्शन बेहतर बनाए रखने में मदद करता है. बेहतर मूड और कम चिंता माचा में मौजूद एल थीनीन  न केवल तनाव कम करता है बल्कि अनिद्रा और एंजाइटी को भी नियंत्रित करने में मददगार माना जाता है. कैफीन और एल थीनीन का कॉम्बिनेशन एक ऐसा बैलेंस बनता है जिससे मूड भी बेहतर रहता है और नींद की गुणवत्ता भी प्रभावित नहीं होती है. एंटीऑक्सीडेंट का पावर हाउस माचा में ईजीसीजी नामक एंटीऑक्सीडेंट सामान्य ग्रीन टी की तुलना में 137 गुना ज्यादा पाया जाता है. यह कोशिकाओं की मरम्मत में मदद करता है और एजिंग की प्रक्रिया को धीमा कर सकता है. माचा में फ्लेवॉनाइड्स, पॉलीफिनॉल्स और विटामिन सी भी भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं जो शरीर में फ्री रेडिकल्स को न्यूट्रलाइज कर ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस को कम करने का काम करते हैं. फिटनेस से लेकर मेंटल हेल्थ तक माचा एक बेस्ट ड्रिंक आज जब हेल्थ और वैलनेस ट्रेंड्स तेजी से बदल रहे हैं तो माचा टी एक ऐसा विकल्प बनकर उभरा है जो न सिर्फ शरीर को अंदर से डिटॉक्स करता है. बल्कि मेंटल क्लेरिटी, ऊर्जा और स्थिरता भी प्रदान करता है. शायद इसी वजह से यह पारंपरिक ड्रिंक अब मॉडर्न लाइफ स्टाइल का हिस्सा बनता जा रहा है. ये भी पढ़ें- सिर्फ बुजुर्गों को नहीं, बच्चों को भी हो सकता है हार्ट अटैक, जानिए इसके लक्षण, कारण और बचाव

Jul 18, 2025 - 19:30
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माचा टी बन रही है हेल्थ ट्रेंड, जानिए कैसे करता है शरीर की सफाई और मूड बूस्ट

जापान से निकली पारंपरिक माचा टी अब दुनिया में एक हेल्थ ट्रेंड बन चुकी है. बारीक पीसी हुई ग्रीन टी का इस्तेमाल जापानी टी सेरेमनी में सदियों से होता आया है. लेकिन अब यह साइंस इन ए कप बनकर दुनिया के फिटनेस और वेलनेस एक्सपर्ट की पसंद बन गई है. इसे लेकर कई एक्सपर्ट माचा के फायदे भी बताते हुए नजर आ रहे हैं. चलिए तो आज हम आपको भी बताते हैं की माचा टी हेल्थ ट्रेंड कैसे बन रही है.

पूरी चाय पत्ती के साथ मिलने वाले पोषक तत्व

माचा टी की खासियत यह है कि इसमें पूरी चाय पत्ती को पीसकर पाउडर बनाया जाता है. जिससे इसमें ग्रीन टी की तुलना में कई ज्यादा कैफीन और एंटीऑक्सीडेंट होते हैं. यही वजह है कि इसे सेहतमंद ऑप्शन की सूची में ऊंचा स्थान मिला है.

तनाव कम कर ध्यान बढ़ाएं

माचा में मौजूद एल थीनीन नामक अमीनो एसिड मानसिक शांति देने में मदद करता है. यह कैफीन के असर को नियंत्रित करता है. जिससे ऊर्जा लंबे समय तक बनी रहती है लेकिन झटके या बेचैनी जैसी शिकायत नहीं होती है. वही यह मिश्रण फोकस्ड और स्ट्रेस फ्री एनर्जी भी प्रदान करता है.

मेटाबॉलिज्म को तेज कर फैट बर्न में भी मददगार

माचा को मेटाबॉलिज्म बूस्टर बताया गया है. इसमें मौजूद कैटेचिन्स शरीर की ऊर्जा को बढ़ाते हैं और फैट ऑक्सीडेशन की प्रक्रिया को तेज करते हैं. यानी फैट को एनर्जी में बदलने में मदद मिलती है. यही वजह है की माचा को वेट मैनेजमेंट का नेचुरल सहारा माना जा रहा है.

शरीर की सफाई में भी मददगार

माचा का गहरा हरा रंग इसमें मौजूद क्लोरोफिल की मात्रा को दर्शाता है जो शरीर से टॉक्सिन्स बाहर निकलने में सहायक होता है. यह लीवर की सेहत को भी सपोर्ट करता है जो कि शरीर के डिटॉक्स सिस्टम का केंद्र है. कुछ रिपोर्ट्स के अनुसार माचा लीवर के फंक्शन बेहतर बनाए रखने में मदद करता है.

बेहतर मूड और कम चिंता

माचा में मौजूद एल थीनीन  न केवल तनाव कम करता है बल्कि अनिद्रा और एंजाइटी को भी नियंत्रित करने में मददगार माना जाता है. कैफीन और एल थीनीन का कॉम्बिनेशन एक ऐसा बैलेंस बनता है जिससे मूड भी बेहतर रहता है और नींद की गुणवत्ता भी प्रभावित नहीं होती है.

एंटीऑक्सीडेंट का पावर हाउस

माचा में ईजीसीजी नामक एंटीऑक्सीडेंट सामान्य ग्रीन टी की तुलना में 137 गुना ज्यादा पाया जाता है. यह कोशिकाओं की मरम्मत में मदद करता है और एजिंग की प्रक्रिया को धीमा कर सकता है. माचा में फ्लेवॉनाइड्स, पॉलीफिनॉल्स और विटामिन सी भी भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं जो शरीर में फ्री रेडिकल्स को न्यूट्रलाइज कर ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस को कम करने का काम करते हैं.

फिटनेस से लेकर मेंटल हेल्थ तक माचा एक बेस्ट ड्रिंक

आज जब हेल्थ और वैलनेस ट्रेंड्स तेजी से बदल रहे हैं तो माचा टी एक ऐसा विकल्प बनकर उभरा है जो न सिर्फ शरीर को अंदर से डिटॉक्स करता है. बल्कि मेंटल क्लेरिटी, ऊर्जा और स्थिरता भी प्रदान करता है. शायद इसी वजह से यह पारंपरिक ड्रिंक अब मॉडर्न लाइफ स्टाइल का हिस्सा बनता जा रहा है.

ये भी पढ़ें- सिर्फ बुजुर्गों को नहीं, बच्चों को भी हो सकता है हार्ट अटैक, जानिए इसके लक्षण, कारण और बचाव

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